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Monday 21 January 2013

हथियारों का बाजार खोलने के लिए ही हिंदुत्व का यह गृहयुद्ध!

हथियारों का बाजार खोलने के लिए ही हिंदुत्व का यह गृहयुद्ध!

एक्सकैलिबर स्टीवेंस विश्वास

भारत पाकिस्तान सीमा पर तनाव और कारगिल युद्ध के बाद मीडिया प्रायोजित धर्मराष्ट्रवादी युद्धोन्माद का रहस्य अब कुलने लगा है। जैसे हम कह ही रहे थे कि भारत अब दुनियाभर के युद्धकारोबारियों की मंजिल है, वैसा ही सबकुछ चल रही है। पाकिस्तान के आंतरिक संघर्ष और​​ संवैधानिक संकट के  नाजुक मौके पर वहां लोकतंत्र की हत्या और सैनिक वर्चस्व की स्थापना जहां इस उपमहाद्वीपीय युद्धक वधस्थल के​​ लिए वैश्विक व्यवस्था के हित हैं , वहीं युद्ध हो या नहीं, हथियारों के सौदे का माहौल रचने का खेल तो यह है ही। भारत पाक तनाव ही नहीं, अब फिर एक दफा चीन को भी बतौर खतरा चिन्हित करके प्रतिरक्षा को लाल निशान पर रखने का जुगाड़ हो गया है। कहा जा रहा है कि चीन में युद्ध की तैयारी चल रही है। घटती विकास दर और तेज होते आर्थिक संकट के मद्देनजर चीन भारत से क्यों उलझना चाहेगा ,यह समझ से परे है। हालत और संगीन राहुल गांधी की ताजपोशी से हो गयी। क्योंकि पक्ष विपक्ष दोनों की पूंजी धर्म राष्ट्रवाद है और दोनों ही जनसंहार नीतियों के तहत खुले बाजार की ​​अर्थव्यवस्था के साझेदार है, राहुल और नरेंद्र मोदी की सीधी लड़ाई में उनका अपना अपना हिंदुत्व खतरे में है। राहुल ने जहां भावुक होकर ​​सत्ता को विष समझकर मां की चिंता से देश को अवगत कराया, वहीं गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे संघ परिवार पर केशरिया आतंकवाद का ​​आरोप मढ़ दिया। अगर शिंदे गृहमंत्री की हैसियत से बोल रहे हैं तो उनसे पूछा जाना चाहिे कि पिछले दो कार्यकाल में उनकी सरकारों ने​​ केशरिया आतंकवाद के खिलाफ क्या किया और क्यों राष्ट्रपति को कानून के मताबिक तुरंत कार्रवाई करने की अपील करनी पड़ रही है। दरअसल हिंदुत्व के इस गृहयुद्ध की आड़ में दोनों पक्षों की मिलीभगत से भारत में हथियारों के बाजार का ही विस्तार किया जा रहा है। वैसे भी न केशरिया  आतंकवाद के खिलाफ कार्रवाई होनी है और न मानवता के अपराधी सींखचों के पीछे होंगे।सींखचों के पीछे चले जाने के बाद भी राजनेता की रिहाई और फिर सत्ता में वापसी में देरी नहीं लगती, जो उन्हें फिक्र करने  की जरुरत है। जाहिर है कि वे सत्ता में साझेधार हैं और मनुष्यता और जनता के विरुद्ध अपराध और युद्ध में भी साझेदार।अनेक मुस्लिम धार्मिक नेता बारबार ये दावा करते हैं कि सच्चा मुसलमान,इस्लाम में ईमानदारी से आस्था रखने वाला मुसलमान आतंकवादी हो नहीं सकता।उनके इस दावे को संघ परिवार नकार देता है.लेकिन अब जब हिन्दू आतंकवाद की चर्चा होनी लगी है तो पूरा दृश्य बदल रहा है।

भारत और अमेरिका ने जेट इंजन आपूर्ति के 3,000 करोड़ रुपये के सौदे को अंतिम रूप दे दिया है। अमेरिका से खरीदे जाने वाले 99 जेट इंजनों का भारत में निर्मित हल्के लड़ाकू विमान ‘तेजस’ में इस्तेमाल किया जाएगा। रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) इसे विकसित कर रहा है। भारत ने एलसीए मार्क-दो कार्यक्रम के लिये करीब दो साल पहले यूरोपीय यूरोजेट 2000 के मुकाबले अमेरिकी कंपनी जनरल इेक्ट्रिक को तरजीह दी। इस कार्यक्रम के 2014-15 तक पूरा होने की उम्मीद है।

डीआरडीओ अधिकारियों ने कहा, ‘हल्के लड़ाकू विमान (एलसीए) तेजस एमके दो के लिये 99 इंजन खरीदने को लेकर अमेरिका के साथ 3,000 करोड़ रुपए के सौदे को अंतिम रुप दे दिया गया है।’अनुबंध के तहत आर्डर शुरू में 99 इंजन का हो सकता है लेकिन भारत के पास भविष्य में 100 और इंजन का आर्डर देने का विकल्प होगा।एलसीए मार्क-2 के लिये इंजन जीईएफ-414 है जो पूर्व में लगे जीई एफ-404 के मुकाबले ज्यादा शक्तिशाली है।डीआरडीओ वायुसेना की जरूरतों को पूरा करने के लिये एलसीए एमके दो का विकास कर रहा है। इसमें एक्टिव इलेक्ट्रानिक स्कैन्ड एरे (एईएसए) रडार समेत अत्याधुनिक उपकरण लगे होंगे और एलसीए एमके 1 के मुकाबले इसकी आयुध वहन क्षमता भी अधिक होगी।

केन्द्रीय गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे ने रविवार को भाजपा और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ पर देश में हिन्दू आतंकवाद फैलाने के लिए आतंकी प्रशिक्षण शिविर चलाने का आरोप मढ़ दिया। हालांकि बाद में सफाई देते हुए शिंदे ने कहा कि उनका आशय भगवा आतंकवाद से था। शिंदे ने अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की बैठक में कहा कि जांच के दौरान खबरें आईं हैं कि भाजपा और संघ ने आतंकवाद फैलाने के लिए आतंकी प्रशिक्षण शिविर चलाए। समझौता एक्सप्रेस और मक्का मस्जिद में बम लगाए गए। मालेगांव में विस्फोट किया गया। हमें इस बारे में गंभीरता से सोचना होगा और सतर्क रहना होगा।सुशील कुमार शिंदे का इतना कहना था कि बीजेपी आग बबूला हो उठी। बीजेपी ने शिंदे के बयान को सिर्फ़ दुर्भाग्यपूर्ण नहीं बल्कि देश के माहौल के लिए ख़तरनाक क़रार दे दिया। बीजेपी ने इस बयान पर सोनिया गांधी को माफी मांगने को कहा है और गंभीर परिणाम की चेतावनी भी दी है। बीजेपी अध्यक्ष नितिन गडकरी ने कहा कि कांग्रेस में पाकिस्तान को जवाब देने की तो हिम्मत नहीं। मगर बीजेपी और संघ के खिलाफ कुछ भी बोल सकती है।

कांग्रेस ने रविवार को गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे की उस टिप्पणी के लिए उनका बचाव किया, जिसमें उन्होंने कहा था कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) अपने शिविरों में हिंदू आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है। शिंदे की इस टिप्पणी से भड़की भाजपा ने रविवार को कहा कि अपने बयान के लिए गृह मंत्री माफी मांगें। भाजपा और शिवसेना ने केंद्रीय गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे की देश में 'भगवा आतंकवाद' संबंधी बयानों की आलोचना की है। शिवसेना प्रवक्ता संजय राउत ने कहा कि यदि शिंदे के पास कोई सबूत है तो उन्हें दिखाना चाहिए। राउत ने कहा कि शिंदे गृहमंत्री हैं। यदि उनके पास सबूत हैं तो उन्हें दिखाना चाहिए। उन्होंने कहा कि हमें शर्मिंदगी महसूस होती है कि वह महाराष्ट्र से हैं।

शिंदे ने कहा कि उन्होंने केवल वही कहा जो मीडिया में आया है और उनका इशारा "भगवा आतंकवाद" की ओर था। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के चिंतन शिविर में शिंदे ने दक्षिण पंथी तत्वों के आतंकवादी घटनाओं में संलिप्तता की ओर इशारा किया था और कहा था कि भ्रामक सूचनाओं से सावधान रहने की जरूरत है।

शिंदे ने कहा था, "जांच के बाद हमने पाया कि या तो भाजपा या फिर आरएसएस अपने प्रशिक्षण शिविरों में हिंदू आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है। यह चिंता की बात है।"

बाद में उन्होंने संवाददाताओं से कहा, "इसमें नई बात कुछ भी नहीं है। यह सब कई बार अखबारों में आ चुका है। मैंने भगवा आतंकवाद की बातें की हैं।"

अपने भाषण में शिंदे ने समझौता एक्सप्रेस में विस्फोट, हैदराबाद की मक्का मस्जिद और महाराष्ट्र के मालेगांव की घटना का जिक्र किया और कहा कि भ्रामक सूचनाओं से सावधान रहना चाहिए कि बम अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों ने रखे थे।

कांग्रेस नेता मणिशंकर अय्यर ने संवाददाताओं से कहा, "हम तो लंबे समय से यह जानते हैं। शिंदे ने यह कहने का साहस किया।"

भाजपा नेता सुषमा स्वराज ने कहा, "भगवा आतंकवाद के खिलाफ है। भगवा हमारी परंपरा, संस्कृति और त्याग का प्रतीक है। गृह मंत्री को राष्ट्र से माफी मांगनी चाहिए।"

संसदीय कार्य राज्य मंत्री राजीव शुक्ला ने कहा, "कोई हिंदू या मुस्लिम आतंकवाद नहीं है। उनका आशय दक्षिणपंथी आतंकवाद से था।"

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